Agra-Lucknow Expressway: उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (UPEIDA) के ताजा आंकड़ों के अनुसार, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे पर पिछले दो सालों में स्पीड लिमिट का उल्लंघन करने वाले वाहनों की संख्या में चिंताजनक वृद्धि हुई है। यह आंकड़े दर्शाते हैं कि वाहन चालक, चालान के बावजूद, एक्सप्रेसवे पर निर्धारित स्पीड लिमिट का पालन नहीं कर रहे हैं, जिससे दुर्घटनाओं की आशंका बढ़ रही है।
यूपीईडा के मुताबिक, 1 जनवरी से 30 नवंबर 2023 तक लगभग 3.10 लाख वाहन मालिकों ने एक्सप्रेसवे पर स्पीड लिमिट का उल्लंघन किया। यह आंकड़ा इस बात की ओर इशारा करता है कि वाहनों की गति को नियंत्रित करना एक महत्वपूर्ण चुनौती बन चुकी है। एक्सप्रेसवे पर चार पहिया वाहनों के लिए 100 किलोमीटर प्रति घंटा और ट्रकों, बसों, भारी वाहनों तथा दोपहिया वाहनों के लिए 80 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड लिमिट निर्धारित की गई है।
यूपीईडा ने इस गंभीर समस्या से निपटने के लिए कई कदम उठाए हैं। अधिकारियों के अनुसार, उन्नाव, कन्नौज, इटावा और आगरा के आरटीओ के साथ गठजोड़ करके, स्वचालित यातायात प्रबंधन प्रणाली (एटीएमएस) के माध्यम से चालान जारी किए जा रहे हैं। इसके अलावा, एक्सप्रेसवे के किनारे कैमरे लगाए गए हैं, जो स्पीड लिमिट उल्लंघन करने वाले वाहनों का पता लगाते हैं।
एक्सप्रेसवे के दोनों ओर लगाए गए कैमरे, जो उल्लंघनकर्ताओं का पता लगाते हैं। ट्रक चालकों को रिफ्लेक्टिव टेप दी जा रही है ताकि रात के समय में उनका वाहन अधिक स्पष्ट दिखे। खराब दृश्यता वाली परिस्थितियों में वाहन चालकों को चेतावनी देने के लिए कैरिजवे के किनारे कैट आई लगाए गए हैं। तड़के उचित निगरानी के लिए कर्मचारियों को दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं।
स्पीड लिमिट उल्लंघन के लिए मोटर वाहन अधिनियम के तहत 2,000 रुपये का जुर्माना लगाया जाता है। यूपीईडा के अनुसार, 1 जनवरी 2022 से अब तक लगभग 8.34 लाख वाहन चालकों को चालान जारी किए गए, जिससे कुल 22.37 करोड़ रुपये का राजस्व अर्जित हुआ है।